अगर मन में मजबूत इरादा और लक्ष्य के प्रति जूनून हो और जी-जा’न से मेहनत की जाए तो ऐसा कोई लक्ष्य नहीं जिसे हासिल ना किया जा सके. सच्ची लग्न और मेहनत से ही लक्ष्य हासिल किये जाते है. इसका ताजा उदहारण पेश किया है हरियाणा के करनाल की रहने वाली एक लड़की ने. इस लड़की ने अपनी लग्न और मेहनत से शानदार उपलब्धि हासिल की है.

ये लड़की करनाल के इन्द्री हलके की रहने वाली है. वहीं इन्द्री शहरवासियों को भी अपने क्षेत्र की इस बेटी पर नाज है जिसने देशभर में अपने शहर का नाम रोशन किया है.
इसरो में साइंटिस्ट के तौर पर सुरभि का चयन
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक करनाल के इन्द्री की रहने वाली सुरभि का चयन इसरो यानि भारतीय अन्तरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) में हो गया है. उनकी इस शानदार उपलब्धि के लिए ना सिर्फ उनके पूरे घर में बल्कि पूरे मोहल्ले में ख़ुशी का माहौल देखने को मिल रहा है.
इसरो में नियुक्ति अपने आप में एक बहुत ही बड़ी उपलब्धि है जिसे सुरभि ने अपनी सच्ची निष्ठा से हासिल किया है. सुरभि ने अपनी लग्न, मेहनत, माता पिता आर्शीवाद से सफलता के नए आयाम को हासिल कर लिया है. वहीं इस उपलब्धि पर सुरभि को बधाई देने वालों की भीड़ उमड़ पड़ी है.
वहीं सुरभि के माता पिता अपनी बेटी की इस उपलब्धि पर काफी गर्व कर रहे है. वहीं इसरो में सुरभि के चयन पर शहरवासियों और रिश्तेदारों ने उन्हें फूलमालाएं पहनाकर और उन्हें बूके देकर उन्हें बधाई दी और आगामी भविष्य के लिए ढेर सारी शुभकामनाएं भी दी.
इसरो में चयन को लेकर सुरभि ने बताया कि उन्होंने उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक्स व कम्यूनिकेशन में बीटेक की शिक्षा वाईएससी यूनिवर्सिटी से हासिल की है. इसके बाद वो गेट परीक्षा की तैयारी में जुट गई और कुछ वक्त बाद उन्हें टीसीएस कंपनी में नौकरी मिल गई.

सुरभि के मुताबिक इसके बाद उनका चयन बीएसएनएल में जेई के पद पर हुआ. लेकिन उनमें कुछ नया और बड़ा करने की भूख रही. वो नए आयाम हासिल करने के सपने सजाती थी.
सुरभि ने बताया कि जब इसरो द्वारा एक साथ 100 सेटेलाइट लांच किये गए थे, उसके बाद से ही उनका मन इसरो के लिए काम करने का हुआ. उन्होंने अपनी इच्छा को मेहनत से सींचना शुरू किया और उनकी मेहनत रंग ले आई.
कड़ी मेहनत करें और खुद पर भरोसा रखें
इसरो की प्रतियोगिता परीक्षा रिजल्ट में उनका आल इंडिया रैंक 8 आया और उनका चयन इसरो में बतौर साइंटिस्ट हो गया. सुरभि ने अपनी इस उपलब्धि के लिए अपने माता-पिता को श्रेय देती है.

उन्होंने कहा कि उनके परिजनों द्वारा उन्हें हर तरह से सपोर्ट किया गया, उन पर पूरा भरोसा जताया और इसी का परिमाण आज सबके सामने है. सुरभि ने युवाओं को सन्देश देते हुए कहा कि कड़ी मेहनत और सच्ची लग्न से हर लक्ष्य हासिल किया जा सकता है. बस खुद पर भरोसा रखे और मेहनत और निरंतर प्रयास करते रहे.
वहीं इस अवसर पर सुरभि के पिता बलदेव राज व माता वीनू ने अपनी बेटी की इस कामयाबी पर ख़ुशी जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें अपनी बेटी पर पूरा भरोसा था. जिस तरह से उनकी बेटी कड़ी मेहनत और लग्न के साथ पढाई में लगी रही, उसे एक दिन सफलता जरुर हासिल होगी और ऐसा हुआ भी.